नई दिल्ली, 29 मई2020/भारत की चीन के साथ सीमा विवाद पर मध्यस्थता की पेशकश करने वाले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा है कि मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से इस संबंध में बात की है लेकिन चीन के साथ बने विवाद की वजह से वह अच्छे मूड में नहीं हैं. साथ ही उन्होंने एक बार फिर मध्यस्थता करने की बात दोहराया.
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि भारत और चीन के बीच बड़ा संघर्ष चल रहा है, 1.4 बिलियन आबादी वाले 2 बड़े देश जिनकी सैन्य ताकत बेहद मजबूत है. भारत खुश नहीं है और शायद चीन भी खुश नहीं है. उन्होंने आगे कहा, ‘मैं आपको बता सकता हूं कि मैंने प्रधानमंत्री मोदी से बात की है, लेकिन चीन के साथ अभी जो विवाद बना हुआ है, उसको लेकर वह अच्छे मूड में नहीं हैं.’
व्हाइट हाउस के ओवल ऑफिस में गुरुवार को पत्रकारों से बातचीत में ट्रंप ने कहा कि भारत और चीन के बीच यह बड़ा विवाद बनता जा रहा है. उन्होंने कहा, ‘मैं आपके प्रधानमंत्री को बहुत पसंद करता हूं. वह बेहद सज्जन पुरुष हैं. ‘
भारत और चीन में बने तनावपूर्ण माहौल में दोनों देशों के बीच मध्यस्थता करने के सवाल पर राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा कि अगर वे ऐसा सोचते हैं कि मेरे मध्यस्थ होने या मध्यस्थता करने से कोई मदद मिलती है तो मैं ऐसा जरुर करूंगा. हालांकि भारत ने पहले ही ट्रंप की मध्यस्थता का सुझाव ठुकरा दिया है.
अमेरिकी राष्ट्रपति च्रंप की पेशकश पर भारत अपनी प्रतिक्रिया दे चुका है. विदेश मंत्रालय ने कहा कि किसी भी तीसरे पक्ष के हस्तक्षेप की जरूरत नहीं है. शांति से मुद्दे को सुलझाने के लिए हम चीन के संपर्क में हैं.
मध्यस्थता करने को तैयार ट्रंप
चीन के साथ भारत के सीमा विवाद पर राष्ट्रपति ट्रंप ने 2 दिन पहले बुधवार को मध्यस्थता की पेशकश की थी. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने तब कहा था कि अमेरिका, भारत और चीन के बीच सीमा विवाद के मुद्दे पर मध्यस्थता करने के लिए तैयार है.
ट्रंप ने ट्वीट किया, ‘हमने भारत और चीन दोनों को सूचित किया है अगर वो चाहें तो सीमा विवाद में अमेरिका मध्यस्थता करने को तैयार है.’
इस महीने की शुरुआत से ही लद्दाख में चीनी सैनिक और भारतीय सैनिक आमने-सामने हैं, चीन की ओर से लगातार सैनिकों की संख्या बढ़ाने और बेस बनाने की खबरें आ रही हैं. ऐसे में भारत भी पूरी तरह से मुस्तैद है और शीर्ष स्तर पर इसको लेकर मंथन चल रहा है.
तनावपूर्ण हालात पर चर्चा
पिछले दिनों प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस मसले पर प्रधानमंत्री कार्यालय में चर्चा की थी. पीएम ने मंगलवार को लद्दाख मामले पर पूरी रिपोर्ट ली, इसके अलावा तीनों सेना के प्रमुखों से विकल्प सुझाने के लिए कहा गया.
पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के पास पिछले कुछ दिनों से चीन की तरफ से सैन्य गतिविधियों के बढ़ने के बाद से दोनों देशों के बीच तनाव की स्थिति है.
भारत के अपनी सीमा के अंदर सड़क निर्माण करने पर चीन विरोध जता रहा है. चीन की हरकतों को लेकर भारत भी अलर्ट मोड में है. दोनों देशों की सेनाओं ने हाल में सीमा पर गतिविधियां बढ़ीं हैं. माना जा रहा है कि 2017 में उपजे डोकलाम विवाद जैसी स्थिति फिर से दोनों देशों के बीच उत्पन्न हुई है.
(साभार-आज तक)
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