रतलाम(खबरबाबा.काम)। स्कूल-कॉलेज में मारपीट से लेकर वर्चस्व के जानलेवा विवाद तक किशोर और युवाओं की बढती सक्रीयता को देखते हुए रतलाम पुलिस इस बाल दिवस से एक अभिनव पहल करने जा रही है। एसपी अमित सिंह के निर्देशन में रतलाम पुलिस स्कूल-कॉलेज और मोहल्लों एवं कॉलोनियों में जाकर जहां जागरुकता लाने का प्रयास करेगी, वहीं अपराधों एवं गलत रास्तों की और बढ़ रहे किशोर एवं युवाओं की जानकारी निकालकर उनकी काउंसलिग भी करेगी। पैसा, पॉवर और रुतबे के लिए नकारात्मकता के प्रति बढ़ रहे आकर्षण को रोकने के लिए पुलिस इस अभियान में मनोचिकित्सकों से लेकर मोहल्ले के बुजुर्गो तक की मदद भी लेगी।
एसपी अमितसिंह ने इस सबंध में बताया कि बालदिवस से शुरू होने वाले विशेष अभियान में स्कूल ,कॉलेज एवं मौहल्लो में जाकर पुलिस टीम न केवल बच्चो को अपराध के बाद होने वाले परिणामो से अवगत कराएगी बल्कि चर्चा के बाद उनकी जिज्ञासाओं का समाधान भी करेगी। पुलिस ऐसे बच्चो को चिन्हित भी करेगी जो गलत संगत में है और अपराध की तरफ मुड़ सकते है। पुलिस के एक्सपर्ट उनकी कांउसलिग भी करेगें और उन्हे गलत रास्ते पर जाने से रोकने के उपाय भी करेगें।
एसपी सिंह के मुताबिक बच्चो के प्रति ज्यादा संवेदनशीलता रखना पुलिस की अहम जिम्मेदारी है, साथ ही बाल अपराध में रोकथाम के लिए बच्चों और अभिभावकों को भी जागरूक करना बहुत आवश्यक है और बच्चों को शिक्षा देने वाले संस्थानों की भी विशेष जिम्मेदारी है कि कम उम्र के बच्चों के व्यवहार और उनके हाव-भाव पर निगाह रखकर विशेष ध्यान दें। आज के परिवेश में कई बच्चे दिशा भटक रहे है। लिहाजा अपराधों से बच्चों को दूर रखने के लिए पुलिस टीम स्कूल-कालेजों में जाकर जागरूकता अभियान चलाएगी।
हो जाते है गुमराह
किशोर और कम उम्र के युवाओं के अपराध में लिप्त होने से पुलिस भी चिंतित है। पुलिस के अनुसार पिछले कुछ सालों मे देखा गया है कि स्कूल कालेजों मे पढऩे वाले छात्र अपने महंगे शौक पूरे करने या वर्चस्व कायम करने के लिए के लिए अपराध का रास्ता अपना रहे हैं। पकड़े जाने पर उनकी जिन्दगी के वो दिन जिन्हे पढ़ाई या कैरियर बनाने मे गुजरना चाहिए वो जेल मे कट जाते हैं। जेल जाने के बाद कच्ची सोच वाले नौजवानो को जेल मे बन्द पेशेवर अपराधी अपने फायदे के लिए गुमराह करते है । यहीं नहीं यह अपराधी ऐसे युवाओं को बरगालाकर गलत रास्ते की चकाचौंध की कहानियां सुना कर उनकी सोच बदल देते है। फिर यही युवा उनके गिरोह में शामिल हो जाते है। आज कई ऐसे अपराधी है जो किसी छोटे अपराध मे जेल गए और जेल से छूटने के बाद वो अपराध के रास्ते से हटने की बजाए बड़े अपराधी के रूप मे सामने आए। युवाओ की अपराध की तरफ जा रही ये दिशा न सिर्फ युवा पीढ़ी के लिए खतरनाक है बल्कि देश और समाज के लिए भी खतरनाक है। ऐसे में रतलाम पुलिस किशोर और युवाओं में जागरुकता लाने के लिए अभियान चलाएगी।
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